भारत का इतिहास - बुद्ध के समय के प्रमुख गणराज्य (गणतंत्र) || History of India - Major republics of Buddha's time
In the Republic, every tribe of nobles held authority over the revenue. He was known as 'king' . In every republican rule, the king managed the army under his commander. The 'Brahmins' were not influential in the Republic. In this system, work was done under the committee of nobles. There are evidences of the existence of several 'republics' in the Ganges valley during the time of Mahatma Buddha.
बुद्ध के समय में निम्नलिखित 10 गणतंत्र थे (The following were 10 republics during Buddha's time) -
1. सुमसुमारा के भग्ग (Sumasumara's Bhagga)
2. कपिलवस्तु के शाक्य (Kapilavastu's Shakya)
3. केसपुत्त के कलाम (Kesputta's kalam)
4. अलकप्प के बुली (Alkapp's Bulee)
5. कुशीनारा के मल्ल (Kushinara's Malla)
6. रामग्राम के कोलिय (Ramgram's Koliy)
7. पिप्पलीवन के मोरीय (Piplivan's Moriy)
8. पावा के मल्ल (Pava's Malla)
9. मिथिला के विदेह (Mithila's Videh)
10. वैशाली के लिच्छवि (Vaishali's Lichchhavi)
1. सुमसुमारा के भग्ग (Sumasumara's Bhagga) - इनका क्षेत्र वर्तमान चुनार (मिर्जापुर जिले) से अनुमानित है। ऐतरेय ब्राह्मण के अनुसार भग्ग लोग 'भर्ग' वंश से संबंधित थे।
Their area is estimated from the present Chunar (Mirzapur district). According to Aitareya Brahmin, the Bhagavas belonged to the 'Bharga' dynasty .
2. कपिलवस्तु के शाक्य (Kapilavastu's Shakya) - इनकी राजधानी 'कपिलवस्तु' थी। इसे सुकीर्ति ने स्थापित करवाया था, जोकि शाक्य वंश का था। कपिलवस्तु के अलावा इसमें अन्य नगर भी थे - सामगाम, चातुमा, सिलावती, खोमदुस्स, देवदह, नगरक आदि। ये लोग अपनी जाति से बाहर अपनी कन्याओं का विवाह नहीं करते थे। 'महात्मा बुद्ध' का जन्म इसी गणराज्य में हुआ था। इस राज्य का विनाश कौशल नरेश बिडूडभ ने किया था।
His capital was 'Kapilavastu' . It was established by Sukirti , who was of Shakya dynasty. Apart from Kapilavastu, it also had other cities - Samgam, Chatuma, Silavati, Khomduss, Devdah, Nagarka etc. These people did not marry their daughters outside their caste. 'Mahatma Buddha' was born in this republic. This kingdom was destroyed by Kaushal Naresh Bidoodbh .
3. केसपुत्त के कलाम (Kesputta's kalam) - वैदिक साहित्य के अध्ययन से ज्ञात होता है कि कलामों का संबंध पांचाल जनपद की केशियों के साथ हुआ करता था। 'आचार्य अलार कलाम' इसी राज्य से संबंधित थे। महात्मा बुद्ध ने गृह त्याग के पश्चात आचार्य अलार कलाम से सांख्य दर्शन की दीक्षा ली थी।
It is known from the study of Vedic literature that the Kalams were associated with the capillaries of the Panchal district. 'Acharya Alar Kalam' belonged to this state. Mahatma Buddha took initiation of Sankhya philosophy from Acharya Alar Kalam after renunciation.
4. अलकप्प के बुली (Alkapp's Bulee)- इनकी राजधानी बेतिया (वेठद्वीप) थी। ये लोग बौद्ध धर्म के अनुयायी थे। ये राज्य वर्तमान बिहार प्रांत के शाहाबाद, आरा तथा मुजफ्फरपुर जिलों के मध्य स्थित था।
Their capital was Bettiah (Vedhadweep) . These people were followers of Buddhism. This state was located between the districts of Shahabad, Ara and Muzaffarpur in the present Bihar province.
5. कुशीनारा के मल्ल (Kushinara's Malla) - वाल्मीकि रामायण के अनुसार मल्लों को लक्ष्मण के पुत्र 'चंद्रकेतुमल्ल' का वंशज बताया गया है।
According to Valmiki Ramayana, the Mallans are said to be descended from Lakshman's son 'Chandraketumall' .
6. रामग्राम के कोलीय (Ramgram's Koliy) - इनकी राजधानी 'रामग्राम' थी। यह क्षेत्र वर्तमान गोरखपुर जिले में स्थित रामगढ़ ताल पर स्थित था। ये लोग अपनी पुलिस शक्ति हेतु सुप्रसिद्ध थे।
The capital was 'Ramgram' . This area was located on the Ramgarh Tal located in the present Gorakhpur district. These people were well known for their police power.
7. पिप्पलिवन के मोरिय (Piplivan's Moriy) - मोरों के प्रदेश के निवासी होने की वजह से ही इन्हें 'मोरिय' कहा जाता था। मोरिय शब्द से ही 'मौर्य' शब्द उत्पन्न हुआ है। चंद्रगुप्त मौर्य इसी वंश के थे।
Because of the peacocks being residents of the state, they were called 'Moriya' . The word 'Maurya' originated from the word Moriya itself. Chandragupta Maurya belonged to this dynasty.
8. पावा के मल्ल (Pava's Malla)- पावा वर्तमान कुशीनगर जिले में स्थित पडरौना नामक स्थान हुआ करता था। मल्ल लोग सैनिक प्रवृत्ति के थे।
Pawa used to be a place called Padrauna located in the present Kushinagar district. Malla people were of military instinct.
9. मिथिला के विदेह (Mithila's Videh)- यहाँ के 'राजा जनक' अपनी शक्ति तथा दार्शनिक ज्ञान हेतु प्रसिद्ध थे। इनकी राजधानी 'मिथिला' थी। यह क्षेत्र वर्तमान जनकपुर था।
The 'King Janaka' here was famous for his power and philosophical knowledge. His capital was 'Mithila' . This area was the present Janakpur.
10. वैशाली के लिच्छवि (Vaishali's Lichchhavi) - यह बुद्ध के समय का सबसे शक्तिशाली एवं बड़ा राज्य था। लिच्छवि वज्जि संघ के सर्वप्रमुख थे। इनकी राजधानी वैशाली थी। यह वर्तमान मुजफ्फरपुर जिले के बसाढ़ नामक स्थान पर स्थित थी। 'महावग्ग जातक' से ज्ञात होता है कि वैशाली को एक धनी, समृद्धशाली एवं घनी आबादी वाला नगर बताया गया है। इन लोगों ने गौतम बुद्ध के निवास हेतु महावन में प्रसिद्ध कूटाग्रशाला बनवाई थी। यहाँ रहकर बुद्ध ने अपने उपदेश दूसरों को दिए थे। इस गणतंत्र का राजा 'चेटक' था। उसकी पुत्री चेलना (छलना) का विवाह मगध के नरेश बिंबिसार के साथ हुआ था। महावीर की माता त्रिशला उसकी बहन थी।
It was the most powerful and great kingdom of the time of the Buddha. Lichchhavi was the chief of the Vajji Sangha . His capital was Vaishali . It was located in a place called Basadh in the present Muzaffarpur district. It is known from 'Mahavagga Jataka' that Vaishali has been described as a rich, prosperous and densely populated city. These people built the famous Kootagrasala at Mahavan for the residence of Gautama Buddha. While staying here, Buddha gave his teachings to others. The king of this republic was 'Chetak' . His daughter Chellana (Chhalna) was married to Bimbisara, the King of Magadha. Mahavir's mother Trishala was his sister.
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